बडे शहरों के अपने तर्क-ओ-तह्जीब होतें हैं.

बडे शहरों के अपने तर्क-ओ-तह्जीब होतें हैं.
समझ पाये तो अच्छा वर्ना अजीब होते हैं.

जिसे चाहोगे पास वो हमेशा दूर मिलेगा.
और अजीब अजीब लोग करीब होते हैं.

मेहफिलों के उसूल भी निराले हैं यहाँ .
झप्पियाँ देकर भी सब रकीब होते हैं.. - © बख्त फ़क़ीरी "देश रत्न "

Comments

Popular posts from this blog

I AM A LOVER - Desh Ratna

शहर में सब होता है बस वक़्त नहीं होता.